प्यासी बीवी, अधेड़ पति – २ | Nokar ne biwi ko choda

दोस्तो, मैं हूँ हनी. मैं अक्सर यहाँ नौकर से चुदाई सेक्स कहानी, हिंदी सेक्स कहानी और सामूहिक चुदाई कहानी पढ़ने आती हूँ। मैं एक पंजाबन हूँ मेरा शहर अमृतसर है, मेरी उम्र है अठाईस साल। मैं एक बच्ची की माँ भी हूँ, मैंने बी.सी.ए के बाद दो साल की एम.एस.सी-आई टी की, मैं बहुत चुदक्कड़ औरत हूँ.. nokar ne chodaस्कूल के दिनों से मैंने चुदाई का रस चख लिया था, मैंने जिंदगी में कई लंड लिए, लेकिन बच्ची होने के बाद मेरी छोटे लंड से तसल्ली नहीं हो पाती, मेरे पति मुझसे उम्र में काफी बड़े हैं, मैंने उनके साथ घरवालों के खिलाफ जाकर शादी की थी, उनके पास बहुत पैसा था.अब तक की कहानी आप नीचे दिए हुए लिंक पर पढ़ सकते है.. nokar ne chodaआगे की कहानी बताती हु.www.antarvashna.com – प्यासी बीवी, अधेड़ पति“वाह मेरे राजा वाह ! क्या मर्द है तू !”“साली सुबह तेरी पैंटी देख मुठ मारी थी !”जोर जोर से झटके लगाने लगा वो ! उसने मुझे लिटाया मेरी दोनों टांगें कंधों पर रखवा मेरे दोनों मम्मे पकड़ चोदने लगा। अब वो भीमंजिल की तरफ था, इतनी तेज़ी से घिसाई हो रही थी मानो मशीन हो !तभी वो शांत हो गया ! nokar ne chodaमुझे महीनों बाद मर्द का असली सुख हासिल हुआ था, पूरा जिस्म फूल की तरह हल्का हो गया था मेरा !काफी देर मेरे होंठों चूमता रहा, फ़िर दोनों अलग हुए !“अगर तेरे साब नहीं आये रात को तो आएगा?”मिलने के वादे से बोला- हाँ, पर मनजीत को चकमा देना कठिन है !“अगर चकमा न दे पाया तो दोनों के लंड खा जाऊँगी मैं ! मेरे अंदर मर्द के लिए इतनी भूख है !’रात को पति नहीं आये, बनवारी रात का खाना बनाने आया, अब हम दोनों के बीच जिस्मानी संबंध बन गए थे, उसने मुझे पहले बाँहों में लिया, मेरे होंठ चूसे, मेरे मम्मे दबाने लगा, वहीं लॉबी में टेबल साइड कर गलीचे पर मुझे लिटा चूमने लगा मैंने उसका लंड निकाला और चूसने लगी।“बनवारी आज तुम भी खाना यहीं खाना, मंजीत भी आने वाला होगा !” nokar ne chodaमैंने टांगें खोल दी, बनवारी समझ गया था, उसने अपना लंड घुसा दिया, झटके देने लगा।“हाय ! और जोर से जोर से करो ! फाड़ डालो मेरी फुद्दी को !”“तेरी बहन की चूत ! देख आज रात तेरा क्या करता हूँ ! ले मेरा पप्पू !”“अह अह अह जोर जोर से चोद ! मेरे पालतू कुत्ते, आज रात तुम दोनों के गले में पट्टा डालूंगी ! बनाओगे मुझे अपनी मालकिन?”Indian wife sex stories – समझदार बहू“हाँ मेरी जान ! ले ले ले !” कह बनवारी ने मेरी फुद्दी अपने रस से भर डाली।“यह क्या कर दिया? अंदर पानी क्यूँ निकाला?” nokar ne choda“तुम कौन सी कुंवारी लड़की हो? वैसे भी उससे तेरा पेट अब तक नहीं निकाला गया !”बनवारी और में अलग हुए, वो खाना बनाने लगा।बोला- मंजीत आ गया मेरी जान, उसको पटा ले गैराज में है अभी !मैंने उसी पल तौलिया पकड़ा, पिछवाड़े में गई, ताज़े पानी में नहाने लगी, सिर्फ ब्रा पैंटी में थी, उसके पाँव की आवाज़ सुन मैंने ब्रा का हुक खोल दिया, पानी बंद कर साबुन जिस्म पर लगाने लगी, बड़े बड़े दोनों मम्मों पर साबुन लगाने लगी।जैसे वो आया, उसने लाइट का बटन दबाया, टयूब जलते उसके होश उड़ गए।मैंने ऐसा शो किया कि मुझे उसके आने का पता नहीं लगा, दोनों बाँहों से मम्मे छुपा लिए।“आप यहाँ?” nokar ne choda“क्यूँ? नहा नहीं सकती? क्या गर्मी थी? लाइट बंद कर दो मंजीत, कोई और भी तुम्हारी मैडम को देख लेगा !” मैंने जल्दी से तौलिया लपेटा ना चाहते हुए भी, उसी पल मुझे आईडिया आया, तौलिया तो लपेटा, मन में सोचा कि कहाँ मेरे हाथ से निकल पायेगा, थोड़ा आगे जाकर में फिसल गई- आऊच ! सी मर गई ! अह !मंजीत मेरी तरफ आया, मैंने तौलिया खिसका लिया। मैं संगमरमर के फ़र्श पर सीधी लेटी थी। किस मर्द का हाल बेहाल ना होगा एक चिकनी हसीं औरत सिर्फ पैंटी में, मेरी पहाड़ जैसी छाती पर निप्पल आसमान को निहार रहे थे।उसने हाथ आगे किया, मैंने अपना हाथ उसके हाथ में दे दिया, उसने उस मालकिन को नंगी खींचा जिस मालकिन की पैंटी को देख देख वो मुठ मारता था।जैसे उसने खींचा, मैं उसकी बाँहों में थी, वो भी सिर्फ एक पैंटी में ! उसका एक हाथ मेरे चूतड़ों पर था एक पीठ पर !मैंने दोनों हाथ उसकी पीठ पर लगा सर उसकी छाती पर टिका कदम बढ़ाया। उसका लंड खड़ा हो चुका था, मेरे पेट पर चुभ रहा था, धीरे से बोली- बोलती क्यूँ बंद कर ली? कहाँ रह गया तेरा जोश? जिस मैडम की पैंटी को सूंघ सूंघ कर मुठ मारता है वो तो तेरी फौलादी बाँहों में लगभग पूरी नंगी है ! अंदर का मर्द ख़त्म हो गया?सुन कर वो हिल गया, उसके खड़े कड़क लंड पर प्यार से हाथ फेरा, फिर धीरे धीरे दबाने लगी। यह कहानी आप अन्तर्वासना.कॉम पर पढ़ रहे हैं।यह देख उसका मर्द जाग गया था- मर्द तो मैडम हर पल जागा रहता है, मेरा थोड़ा संकोच था, सेवक और मालकिन की हद के चलते ! उसने मेरे होंठ चूम लिए, मैंने उसकी बाँहों से खुद को अलग किया, ठण्डे ठण्डे मार्बल पर लेट गई, मैंने पैंटी को भी जिस्म से अलग कर दिया- ले पकड़, मेरे सामने सूंघ मेरी पैंटी ! ताज़ी ताज़ी महक मिलेगी क्यूंकि तुमसे लिपट कर पानी छोड़ रही थी !Hindi sex story – प्यार, इश्क़ और चुदाई“मैडम, आज तो जहाँ से महक निकलती है वो ही ढाई इंच की दरार सामने है !”मैंने उसी पल टांगें फैला डाली- जो काम हो जाये वो ही अच्छा होता है ! मेरे राजा, लो ढाई इंच की दरार !उसने अपने कपड़े उतारे, उसका लटक रहा था, जैसे मैंने अपने होंठ लगाये, वो खिल उठा, सलामी देने लगा- चूस दे जान !मैंने काफी सारा थूक उसके सुपारे पर फेंका, उसका लुल्ला था, ना कि लुल्ली, इसलिए पूरा मुँह में कहाँ आता ! लंबाई ज्यादा थी, गपगप की आवाज़ जैसी ब्लू फिल्मों की रंडी आम तौर पर करती हैं गंदी, गीली चुसाई !वो मेरे लंड चूसने के अंदाज़ से पागल हुए जा रहा था। nokar ne choda“कभी किसी ने तेरा चूसा है?”बोला- नहीं मैडम ! हमारी क्या किस्मत ! nokar ne chodaआज से तेरी हैसियत मेरी नज़रों में तेरे साब जैसी है, तेरी पुरुष अंग में कमाल का दावा है